2025 का बजट भारत में कैंसर देखभाल और स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र के लिए कई महत्वपूर्ण पहल लेकर आया है। इनमें से एक प्रमुख घोषणा 36 जीवनरक्षक दवाओं, जिनमें कैंसर की दवाएं भी शामिल हैं, पर सीमा शुल्क की पूरी छूट है। हेल्थकेयर ग्लोबल एंटरप्राइजेज लिमिटेड के सीईओ और फिक्की कैंसर टास्क फोर्स के प्रमुख श्री राज गोरे के अनुसार, “यह कदम महत्वपूर्ण उपचारों की लागत को कम करेगा, जिससे ये अधिक रोगियों की पहुंच में आ सकेंगे। इससे कैंसर और अन्य गंभीर बीमारियों से जूझ रहे परिवारों पर पड़ने वाले वित्तीय बोझ को कम करने में मदद मिलेगी।”
इसके अलावा, सरकार ने मेडिकल टूरिज्म को बढ़ावा देने, अगले वर्ष मेडिकल कॉलेजों और अस्पतालों में 10,000 नई सीटें जोड़ने, अगले 5 वर्षों में 75,000 सीटें बढ़ाने, और अगले 3 वर्षों में सभी जिला अस्पतालों में डे केयर कैंसर सेंटर स्थापित करने का लक्ष्य रखा है। इनमें से 200 केंद्र 2025-26 में ही स्थापित किए जाएंगे।
सरकार की यह पहल स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में सुधार की दिशा में महत्वपूर्ण कदम हैं। ये उपाय न केवल स्वास्थ्य सेवाओं की पहुंच और सामर्थ्य को बढ़ाएंगे, बल्कि तकनीकी उन्नति, चिकित्सा विशेषज्ञता और आर्थिक विकास में भी योगदान देंगे।
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मेडिकल टूरिज्म को बढ़ावा
मेडिकल टूरिज्म को प्रोत्साहित करने से भारत उच्च गुणवत्ता और किफायती उपचार की तलाश में अंतरराष्ट्रीय रोगियों को आकर्षित कर सकता है। इससे विदेशी मुद्रा की प्राप्ति होगी, जो अस्पतालों, चिकित्सा संस्थानों और सरकार के लिए अतिरिक्त राजस्व का स्रोत बनेगी। बढ़ती मांग स्वास्थ्य सेवा बुनियादी ढांचे में निवेश को प्रोत्साहित करेगी, जिससे विश्वस्तरीय अस्पतालों और उन्नत चिकित्सा प्रौद्योगिकी की स्थापना होगी। इससे रोजगार के अवसर भी पैदा होंगे। एक संपन्न मेडिकल टूरिज्म उद्योग भारत को वैश्विक स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में अग्रणी बनाएगा और अधिक शोध सहयोग और अंतरराष्ट्रीय भागीदारी को आकर्षित करेगा।
चिकित्सा शिक्षा का विस्तार
मेडिकल कॉलेजों में नई सीटें जोड़ने से प्रशिक्षित स्वास्थ्य पेशेवरों की उपलब्धता में उल्लेखनीय सुधार होगा। भारत में डॉक्टर-रोगी अनुपात की चुनौती है, और मेडिकल सीटों में वृद्धि से यह अंतर कम होगा। इससे अधिक योग्य डॉक्टर, विशेषज्ञ और पैरामेडिक्स तैयार होंगे। अधिक मेडिकल कॉलेजों की स्थापना से ग्रामीण और अविकसित क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं की पहुंच बेहतर होगी, जिससे चिकित्सा विशेषज्ञता का व्यापक वितरण सुनिश्चित होगा।
जिला स्तर पर कैंसर देखभाल केंद्र
सभी जिला अस्पतालों में डे केयर कैंसर सेंटर स्थापित करने की योजना कैंसर देखभाल में क्रांतिकारी बदलाव लाएगी। कैंसर उपचार के लिए शुरुआती निदान, निरंतर निगरानी और विशेष देखभाल की आवश्यकता होती है, जो ये केंद्र जिला स्तर पर उपलब्ध कराएंगे। इससे गुणवत्तापूर्ण उपचार अधिक सुलभ और सस्ता होगा। रोगियों को अब मेट्रो शहरों में लंबी दूरी तय करने की आवश्यकता नहीं होगी, जिससे बड़े अस्पतालों पर बोझ कम होगा और परिवारों के लिए वित्तीय और लॉजिस्टिक चुनौतियां कम होंगी।
इन सभी पहलों के माध्यम से 2025 का बजट भारत के स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र को मजबूत करने और कैंसर देखभाल को सुधारने की दिशा में एक बड़ा कदम साबित हो सकता है।